जनजातीय सशक्तिकरण को नई दिशा देगा केंद्रीय बजट: जुएल ओरा

देहरादून: केंद्रीय जनजातीय मामलों के मंत्री जुएल ओराम ने केंद्रीय बजट 2025 को ऐतिहासिक बताते हुए इसे जनजातीय क्षेत्रों के सशक्तिकरण का मजबूत आधार करार दिया। उन्होंने कहा कि बजट में किए गए वित्तीय प्रावधान न केवल जनजातीय समुदायों को लाभान्वित करेंगे, बल्कि ‘विकसित भारत’ निर्माण में उनकी सक्रिय भूमिका भी सुनिश्चित करेंगे।
प्रदेश भाजपा मुख्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान केंद्रीय मंत्री ने मोदी सरकार के इस बजट को आत्मनिर्भर भारत का दस्तावेज बताया। उन्होंने कहा कि गरीबों, किसानों, युवाओं और महिलाओं को केंद्र में रखकर बनाए गए इस बजट में विशेष रूप से जनजातीय कल्याण को प्राथमिकता दी गई है। शिक्षा, आजीविका और आधारभूत संरचना को मजबूत करने के लिए कई योजनाओं का विस्तार किया गया है।
जनजातीय विकास के लिए ऐतिहासिक बजट वृद्धि
ओराम ने बताया कि 2014 में जनजातीय मामलों के मंत्रालय का बजट केवल 4,497 करोड़ रुपये था, जो अब बढ़कर 14,925 करोड़ रुपये हो गया है। यह वृद्धि 231 गुना अधिक है और पिछले वर्ष की तुलना में 45.79% अधिक है।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री आदि आदर्श ग्राम योजना को ‘धरती आभा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान’ के तहत अगले 5 वर्षों के लिए 80,000 करोड़ रुपये के बजट के साथ बढ़ाया गया है। इस योजना के तहत PMAAGY (प्रधानमंत्री आदि आदर्श ग्राम योजना) का बजट 163% बढ़ाकर 336 करोड़ रुपये किया गया है, जिसका उद्देश्य जनजातीय क्षेत्रों में शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार संबंधी बुनियादी ढांचे को सुदृढ़ करना है।
जनजातीय क्षेत्रों में शिक्षा और आजीविका को बढ़ावा
केंद्रीय मंत्री ने बताया कि प्रधानमंत्री जनजातीय विकास मिशन के तहत 380 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है, जिससे जनजातीय समुदायों की वार्षिक आय में वृद्धि होगी। इसके साथ ही प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महाअभियान (PM JANMAN) के बजट को 150 करोड़ से बढ़ाकर 350 करोड़ रुपये किया गया है, जिससे जनजातीय समूहों के सामाजिक और आर्थिक विकास को बढ़ावा मिलेगा।
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रेरणा से ‘एकलव्य मॉडल आवासीय स्कूल योजना’ के लिए इस बार 7,088 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है, जो पिछले वर्ष के 4,748 करोड़ रुपये से अधिक है। इस योजना के माध्यम से जनजातीय छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराई जाएगी।
‘धरती आभा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान’ बनेगा गेम चेंजर
उन्होंने कहा कि ‘धरती आभा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान’ जनजातीय क्षेत्रों के विकास में गेम चेंजर साबित होगा। इसके तहत 79,156 करोड़ रुपये की धनराशि से अगले 5 वर्षों में 63,843 गांवों के सामाजिक-आर्थिक ढांचे को सुदृढ़ किया जाएगा। इस अभियान में 56,333 करोड़ रुपये केंद्र सरकार और 22,823 करोड़ रुपये राज्यों द्वारा खर्च किए जाएंगे।
इस पहल में 17 मंत्रालयों को एकजुट करके स्वास्थ्य, शिक्षा, आजीविका और कौशल विकास जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार का उद्देश्य जनजातीय समुदायों को केवल लाभार्थी बनाना नहीं, बल्कि उन्हें विकसित भारत की यात्रा में सक्रिय भागीदार बनाना है।
भाजपा कार्यकर्ताओं ने किया भव्य स्वागत
पत्रकार वार्ता के दौरान भाजपा एसटी प्रकोष्ठ से जुड़े कार्यकर्ताओं ने केंद्रीय मंत्री का फूल-माला पहनाकर स्वागत किया। ओराम ने आश्वासन दिया कि उत्तराखंड सरकार द्वारा दिए गए सभी सुझावों को केंद्र में प्राथमिकता मिलेगी।
इस अवसर पर प्रदेश चुनाव अधिकारी खजान दास, प्रदेश कोषाध्यक्ष पुनीत मित्तल, प्रदेश मीडिया प्रभारी मनवीर चौहान, सह मीडिया प्रभारी राजेंद्र नेगी, महानगर अध्यक्ष सिद्धार्थ अग्रवाल, गीताराम नौटियाल सहित भाजपा के कई वरिष्ठ नेता और कार्यकर्ता उपस्थित रहे।