आईआईटी रूड़की में पावर सिस्टम साइबर सुरक्षा हैकथॉन – आधुनिक समाज की नींव की रक्षा, जल संसाधन विकास एवं प्रबंधन विभाग, आईआईटी रूड़की
आईआईटी रूड़की में पावर सिस्टम साइबर सुरक्षा हैकथॉन – आधुनिक समाज की नींव की रक्षा, जल संसाधन विकास एवं प्रबंधन विभाग, आईआईटी रूड़की
रूड़की । पावर सिस्टम साइबर सिक्योरिटी हैकथॉन 2024, 15 अक्टूबर को, एक जीवंत दो दिवसीय कार्यक्रम के साथ सफलतापूर्वक संपन्न हुआ, जिसमें नवाचार, सहयोग एवं तकनीकी उत्कृष्टता का उत्सव मनाया गया। जल संसाधन विकास एवं प्रबंधन विभाग (डब्ल्यूआरडीएम), व सतत ऊर्जा केंद्र (सेंटर फॉर सस्टेनेबल एनर्जी), आईआईटी रूड़की द्वारा आईहब दिव्य संपर्क एवं टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड के सहयोग से आयोजित, हैकथॉन ने साइबर खतरों से ऊर्जा प्रणालियों को सुरक्षित करने के लिए उन्नत समाधान खोजने पर ध्यान केंद्रित किया। प्रतिभागी आईआईटी, एनआईटी एवं भारत भर के विभिन्न सरकारी तथा निजी संस्थानों से थे, जो प्रतिभा और विशेषज्ञता के व्यापक स्पेक्ट्रम को दर्शाते हैं। हैकथॉन डेढ़ महीने तक चला, जिसके दौरान प्रतिभागियों ने कई दौर की ऑनलाइन जांच की। सर्वोत्तम नवीन साइबर सुरक्षा समाधानों का प्रदर्शन करने वाली कई अत्यधिक प्रतिस्पर्धी प्रविष्टियों में से दस टीमों को चुना गया था। हैकथॉन का अंतिम चरण दो दिनों – 14 और 15 अक्टूबर – आईआईटी रूड़की में हुआ।
14 अक्टूबर को, कार्यक्रम की शुरुआत पोस्टर प्रस्तुतियों के साथ हुई, उसके बाद लाइव प्रदर्शन हुए, जहाँ दस शॉर्टलिस्ट की गई टीमों ने अपनी परियोजनाएँ प्रस्तुत कीं। ये टीमें ऊर्जा क्षेत्र को कमजोरियों और हमलों से बचाने के लिए साइबर सुरक्षा समाधान विकसित करने के लिए अथक प्रयास कर रही थीं। प्रत्येक टीम अपनी तकनीकी क्षमता का प्रदर्शन करते हुए अद्वितीय दृष्टिकोण और विचार लेकर प्रस्तुत हुई। हैकथॉन का दूसरा दिन, 15 अक्टूबर, पुरस्कार वितरण और बधाई समारोह के लिए समर्पित रहा, जहां अंतिम विजेताओं की घोषणा की गई और उन्हें सम्मानित किया गया।
समारोह की शुरुआत हैकथॉन समन्वयक व डब्ल्यूआरडीएम के प्रमुख प्रोफेसर थंगा राज चेलिया के स्वागत भाषण से हुई, जिन्होंने देश के महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे की सुरक्षा में साइबर सुरक्षा के महत्व के बारे में बात की। उन्होने इस बात पर प्रकाश डाला कि इस तरह की पहल कैसे नवाचार को बढ़ावा दे सकती है और ऊर्जा क्षेत्र को मजबूत कर सकती है।
इसके बाद, सीएफएसई के प्रमुख प्रोफेसर सौमित्र सतपथी ने प्रतिभागियों को सतत ऊर्जा केंद्र की चल रही अनुसंधान गतिविधियों से परिचित कराया और साइबर सुरक्षा एवं टिकाऊ ऊर्जा के क्षेत्र में भविष्य की परियोजनाओं पर सहयोग को प्रोत्साहित किया।
विद्युत अभियांत्रिकी विभाग के हैकथॉन समन्वयक प्रोफेसर अब्दुल सलीम मीर ने हैकथॉन प्रक्रिया का एक सिंहावलोकन प्रदान किया, जिसमें ऑनलाइन राउंड से ऑफ़लाइन प्रदर्शन तक की यात्रा का पता लगाया गया। मैंने पूरे आयोजन के दौरान प्रतिभागियों के नवोन्मेषी दृष्टिकोण और प्रयासों की सराहना की।
समारोह में अतिथियों द्वारा ‘रिसर्च मेट्रिक्स ऑफ हाइड्रो-इलेक्ट्रिक सिस्टम्स ग्रुप ऑफ डब्ल्यूआरडी एंड एम डिपार्टमेंट’ नामक एक विशेष पुस्तक का अनावरण भी किया गया, जो हाइड्रोपावर सिमुलेशन लैब (एचएसएल) एवं पावर इलेक्ट्रॉनिक्स एंड हाइड्रोइलेक्ट्रिक मशीन्स प्रयोगशालाएँ (पीईएचईएम) की अनुसंधान उपलब्धियों पर प्रकाश डालती है।
इसके बाद हैकथॉन के विजेताओं की घोषणा हुई। शीर्ष तीन टीमों को उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए सम्मानित किया गया, मुख्य अतिथि और आईआईटी रूड़की में वित्त एवं नियोजन कुलशासक प्रोफेसर दीपक खरे द्वारा पुरस्कार प्रदान किए गए। प्रोफेसर खरे ने एक संबोधन भी दिया, जिसमें ऊर्जा क्षेत्र में साइबर सुरक्षा के राष्ट्रीय महत्व पर जोर दिया गया, 2021 मुंबई ब्लैकआउट जैसे उदाहरणों का हवाला दिया गया और संयुक्त राष्ट्र सतत विकास लक्ष्यों के साथ इस घटना के संरेखण पर प्रकाश डाला गया।
सम्माननीय अतिथि और सीमेंस लिमिटेड के मुख्य प्रबंधक एवं विद्युतीकरण व स्वचालन व्यवसाय विकास के प्रमुख श्री कपिल गुप्ता ने हैकथॉन के औद्योगिक महत्व और वर्तमान व भविष्य की चुनौतियों से निपटने में प्रतिभागियों के समाधान की प्रासंगिकता के बारे में बात की।
कार्यक्रम का समापन अतिथियों, न्यायाधीशों और छात्र समन्वयकों को स्मृति चिन्ह भेंट करने के साथ हुआ, जिसके बाद विद्युत अभियांत्रिकी विभाग की हैकथॉन समन्वयक प्रोफेसर प्रेमलता जेना ने हार्दिक धन्यवाद ज्ञापन दिया, जिन्होंने हैकथॉन को एक सफल कार्यक्रम बनाने के लिए सभी लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया। उन्होंने प्रतिभागियों को यह कहकर प्रेरित किया, “आपमें से प्रत्येक विजेता है।”
हैकथॉन का समापन विजेताओं की घोषणा के साथ हुआ, जिसमें शीर्ष टीमों को उनके उल्लेखनीय प्रयासों के लिए सम्मानित किया गया। विजेता आईआईटी रोपड़ से सुबल बेउरा व अमित कुमार ने ₹40,000 का पुरस्कार प्राप्त किया। फर्स्ट उपविजेता आईआईटी रूड़की से श्वेतांक अग्रवाल और आशीष कुमार को ₹25,000 से सम्मानित किया गया।
द्वितीय उपविजेता एनआईटी पटना से प्रभात कुमार विद्यार्थी और सुगंधा कुमारी, ₹16,000 के पुरस्कार के साथ सम्मानित किए गए।
शीर्ष तीन पुरस्कारों के अलावा, तीन टीमों को उनके उन्नत समाधानों के लिए ₹8,000 प्रत्येक के साथ मान्यता दी गई, और चार टीमों को प्रत्येक को ₹5,000 का सांत्वना पुरस्कार प्राप्त हुआ।
कार्यक्रम के बाद, प्रतिभागियों को पथरी पावर हाउस, हरिद्वार के औद्योगिक दौरे के लिए ले जाया गया, जहां उन्होंने जलविद्युत उत्पादन प्रणालियों को क्रियान्वित होते देखा। इसके बाद, उन्होंने हर की पौड़ी, हरिद्वार का दौरा किया, जहां उन्होंने स्थान के सांस्कृतिक महत्व और शाम की गंगा आरती का अनुभव किया।
आयोजन समिति उन सभी प्रतिभागियों, संकाय सदस्यों, प्रायोजकों और औद्योगिक भागीदारों को हार्दिक धन्यवाद देती है जिन्होंने इस कार्यक्रम को सफल बनाने में योगदान दिया।
आईआईटी रूड़की के निदेशक प्रो. के.के. पंत ने पावर सिस्टम साइबरसिक्योरिटी हैकथॉन 2024 के सभी प्रतिभागियों को एक बधाई संदेश भेजा, जिसमें उनके उन्नत समाधान और टीम वर्क की सराहना की। उन्होने आयोजन टीम की उनके समर्पण और कार्यक्रम के सफल क्रियान्वयन के लिए सराहना की। प्रो. के.के. पंत ने प्रतिभागियों के भविष्य के प्रयासों के लिए शुभकामनाएं व्यक्त कीं और भविष्य में इस तरह के और अधिक प्रभावशाली आयोजनों की आशा व्यक्त की।